बिहार में अपराधियों के हौंसले इतने बढ़ गए हैं कि अधिकारियों से भी लूटपाट करने लगे हैं। रोहतास जिले में पहाड़ियों पर शरारती तत्वों ने महिला अधिकारी से मारपीट और लूटपाट की घटना को अंजाम दिया है। बताया जा रहा है कि घटना के समय महिला सीओ Goldi Kumari अपने मित्र के साथ पहाड़ी की सैर पर गई थीं। इसी दौरान लुटेरों ने उनके साथ मारपीट की और उनका मोबाइल लूट लिया। घटना के बाद महिला अधिकारी गोल्डी कुमारी ने दरिगांव थाना में प्राथमिकी दर्ज कराई।
मारपीट का विडियो वायरल होने के बाद सरकार के विधि व्यवस्था पर सवाल उठाने लगे. लोगों की प्रतिक्रियाएं आने लगी, की अगर इस शासन व्यवस्था में अधिकारी ही सुरक्षित नहीं है तो आम जनता कैसे सुरक्षित रहेगा। सरकार पर सख्त कार्रवाई करने और कानून व्यवस्था व शासन में जनता का विश्वास बहाल करने का दबाव बढ़ रहा है। पुलिस पर भी कार्रवाई का दबाव बनने लगा. हालांकि मामले में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए तीन लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें शुभम उर्फ संदीप बिंद, पवन कुमार और जैकी गुप्ता को उनके घरों से गिरफ्तार कर लिया गया। तीनों को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।
सोशल मीडिया में हमले, मारपीट और लूटपाट का वीडियो वायरल होने के बाद मचे घमासान के बाद। एक और वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें कथित तौर पर सीओ गोल्डी कुमारी (Goldi Kumari) और सारण सीओ कौशल कुमार (Kaushal Kumar), कैमूर के उसी पहाड़ी इलाके में अनुचित व्यवहार करते हुए दिखाई दे रहे हैं। स्थानीय लोगों ने दावा किया कि उन्होंने यह वीडियो रिकॉर्ड किया है. लोगों ने अधिकारियों पर अभद्र व्यवहार का भी आरोप लगाया है, जिससे मामले में विवाद और बढ़ गया है।
अगर इस मामले में मारपीट और लूटपाट की थ्योरी सच है तो मामला बेहद गंभीर है, एक अधिकारी ही नहीं सुरक्षित है तो आम जनता क्या सुरक्षित रहेगी। और अगर वायरल हो रहे दुसरे विडियो में जो दावा किया जा रहा है की दोनों अधिकारी अभद्र हरकत कर रहे थे, तब भी शरारती तत्वों को ये अधिकार किसने दिया की उनसे मारपीट करें? लूटपाट करें. दोनों बालिग़ हैं, अगर कहीं घुमाने गए भी है, साथ वक्त बिता भी रहे हैं तो कानून को अपने हाथ में लेने का अधिकार उनको किसने दिया? भीड़ जिस हिसाब से महिला का पीछा करते दिख रही है, कोई अनहोनी हो जाती तो कौन जिम्मेवारी लेता? दोनों ही परिस्थिति में मामला बेहद संगीन है की देश कानून के हिसाब से चलेगा की भीड़ के हिसाब से?
नितीश सरकार अपनी विधि व्यवस्था और सुशासन के लिए मशहूर था। लेकिन हाल के महीनों में बिहार में अपराध की बढती घटनाओं ने विधि व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दी हैं। बढ़ते अपराध ने न सिर्फ जनता में नाराजगी बाधा दी है, बल्कि नितीश सरकार पर कानून व्यवस्था के मुद्दे पर विपक्ष के हमले भी बढ़ गए हैं। अपने सुधासन के लिए जाने जाने वाले नितीश कुमार के सामने ये चुनौती है की वो भीड़तंत्र और अपराध की तरफ बढ़ते व्यवस्था को फिर से लोकतंत्र और सुशासन की पटरी पर लाएं।